राशनकार्ड बनवाने के लिए पात्र हितग्राही से पंचायत इंस्पेक्टर द्वारा 3000 हजार रुपए की मांग करने का लगा आरोप
राशन कार्ड बनवाने हेतु हितग्राही 6 माह से जनपद कार्यालय का लगा रहें है चक्कर

राशनकार्ड बनवाने के लिए पात्र हितग्राही से पंचायत इंस्पेक्टर द्वारा 3000 हजार रुपए की मांग करने का लगा आरोप
- राशन कार्ड बनवाने हेतु हितग्राही 6 माह से जनपद कार्यालय का लगा रहें है चक्कर
सारंगढ़ बिलाईगढ़ : जिले के विकासखंड बिलाईगढ़ के अंतर्गत ग्राम ओटगन (जोरा ) का मामला निकल कर सामने आ रहा हैं। जहां पात्र हितग्राही श्रीमती दामिनी निराला पति धनीराम निराला राशनकार्ड के लिए जनपद पंचायत बिलाईगढ़ ऑफिस का 6 महिनों से चक्कर लगा रही हैं। पीड़ित महिला हितग्राही ने बताया की मेरा परिवार का किसी तरह से एक समय का खाना जुटाकर अपने बच्चों का पेट भरते हैं। मेरे पास राशनकार्ड नहीं होने से जीवन यापन करने में मुश्किलो का सामना करना पड़ रहा हैं। पीड़ित हितग्राही ने आंखों में आसूं के साथ बताया कि मेरे पास पूरे दस्तावेज व पात्र होने के बावजूद भी मेरा राशनकार्ड नहीं बन रहा हैं जो अधिकारीयों की उदासीनता कहें कि लापरवाही ये समझ से परे हैं.वहीँ हितग्राही ने आगे बताया कि राशन कार्ड बनाने के लिए 11 नवम्बर 2024 को जनपद पंचायत बिलाईगढ़ मे कार्यालय जाकर फॉर्म जमा किया था लेकिन आज पर्यन्त राशन कार्ड नहीं बन पाया.
वहीँ हितग्राही के पति धनी राम निराला जो मिडिया रिपोर्टर भी है जब 6 माह होने के बाद भी राशन कार्ड नहीं बन पाया तो इस मामले मे जनपद कार्यालय पहुंचकर इस बारे मे कर्मचारीयों से जानकारी लिए तो फॉर्म के बारे गोल माल जवाब दिया और बताया कि पंचायत इंस्पेक्टर गजेंद्र साहू राशनकार्ड बनाने के नाम पर मेरे पास ₹3000 रुपए की मांग कर रहे हैं। जबकि पंचायत निरीक्षक को बताया कि मैं ग़रीब होने के कारण इतना रूपये देने में असमर्थ हुं। इसलिए पुरे 6 महिनों से आफिस का चक्कर लगा रहा हुं।अब इस मामले मे हितग्राही उच्च अधिकारीयों व कलेक्टर को गुहार लगाते हुए कहा कि पंचायत इंस्पेक्टर गजेंद्र साहू के खिलाफ जल्द कार्रवाई करते हुए कार्ड जारी करने की मांग करता हूँ.
जब एक मीडिया रिपोर्टर को इस प्रकार 6 महीने तक घुमाया जा सकता है और रिपोर्टर से भी केवल राशनकार्ड बनाने हेतु 3000 रुपए पैसो की मांग की जा सकती है तो आम पब्लिक का क्या हाल हो सकता है आप अंदाजा लगा सकते हैं इसलिए विकासखंड बिलाईगढ़ को लोग भ्रष्टाचार का गढ़ मानते है क्योंकि यहाँ छोटे से छोटे काम के लिए बिना पैसा का कार्य नहीं होता. कुछ दिन पहले ही नगर पंचायत भटगांव महिला बाल विकास परियोजना के गलत नियुक्ति का मामला सामने आया था. हाई कोर्ट व उच्च अधिकारीयों के आदेश के बाद पीड़िता महिला कि नियुक्ति 2 साल कोर्ट मे मामले के बाद हुई.
अब देखना यह है कि ख़बर प्रकाशन के बाद राशन कार्ड बनवाने हेतु घुस की मांग का आरोप लगने वाले पंचायत इंस्पेक्टर गजेंद्र साहू के ऊपर क्या बड़ी कार्यवाही होता है।
